BKTC की पहली बोर्ड बैठक में 127 करोड़ का वार्षिक बजट पारित, मंदिरों की संपत्तियों का ब्यौरा मांगा गया
देवभूमि उत्तराखंड में बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (BKTC) की पहली बोर्ड बैठक 9 जुलाई 2025 को आयोजित की गई। नव नियुक्त अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए ₹127 करोड़ के बजट प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। साथ ही देशभर में स्थित मंदिर समिति की संपत्तियों का विस्तृत ब्यौरा भी तलब किया गया है।
🧾 बजट में बदरीनाथ और केदारनाथ धाम के लिए अलग-अलग प्रावधान
बैठक के दौरान वित्त अधिकारी मनीष कुमार उप्रेती द्वारा वार्षिक बजट प्रस्तुति दी गई। चर्चा के बाद बदरीनाथ धाम के लिए ₹64 करोड़ और केदारनाथ धाम के लिए ₹62 करोड़ की आय प्रस्तावित की गई, जिसके सापेक्ष खर्च बदरीनाथ के लिए ₹56 करोड़ और केदारनाथ के लिए ₹40 करोड़ निर्धारित किया गया।
🙏 अब तक 24 लाख से अधिक श्रद्धालु कर चुके हैं दर्शन
चारधाम यात्रा 2025 के तहत 8 जुलाई 2025 तक कुल 24,78,963 श्रद्धालु बदरीनाथ और केदारनाथ के दर्शन कर चुके हैं। इनमें:
- बदरीनाथ धाम: 11,37,628 श्रद्धालु
- केदारनाथ धाम: 13,41,335 श्रद्धालु
💻 मंदिरों को डिजिटल प्लेटफॉर्म से जोड़ने की योजना
बैठक के बाद अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि मंदिर समिति की आय कैसे बढ़े, इस पर विशेष चर्चा की गई। उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं को डिजिटल सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए एक विशेष आईटी और डिजिटल कमेटी बनाई गई है, जो:
- धामों और 45 मंदिरों की डिजिटल उपस्थिति मजबूत करेगी
- मंदिरों की सुविधाओं और दर्शन व्यवस्था को ऑनलाइन और टेक्नोलॉजी फ्रेंडली बनाएगी
- श्रद्धालुओं को आसान, पारदर्शी और आधुनिक अनुभव देने की दिशा में काम करेगी
🏨 विश्राम गृहों और मंदिरों के जीर्णोद्धार पर भी विचार
बैठक में बदरीनाथ-केदारनाथ के 27 अतिथि विश्राम गृहों और 45 मंदिरों के जीर्णोद्धार पर भी विस्तार से चर्चा हुई। समिति ने तय किया है कि सभी संरचनाएं सुरक्षित, श्रद्धालु अनुकूल और आस्था अनुरूप होंगी।
🏢 समिति की देशभर की संपत्तियों पर मांगी रिपोर्ट
बैठक का एक अहम बिंदु मंदिर समिति की देशभर में फैली संपत्तियों की स्थिति और उपयोगिता रहा। अध्यक्ष हेमंत द्विवेदी ने सभी संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि:
- मंदिर समिति की संपत्तियों की सूची और उपयोग की जानकारी तत्काल उपलब्ध कराई जाए
- एक विशेष उप-समिति का गठन कर पूरी जानकारी को अपडेट किया जाए
- आय को बढ़ाने के लिए इन संपत्तियों के अधिकतम सदुपयोग की योजना बनाई जाए
📌 निष्कर्ष:
बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति की यह पहली बोर्ड बैठक बेहद व्यावहारिक और विकासोन्मुख रही। डिजिटल पहल, पारदर्शिता, आय बढ़ाने की योजना और श्रद्धालु सुविधा जैसे मुद्दों को केंद्र में रखकर जो निर्णय लिए गए हैं, वे आने वाले समय में उत्तराखंड की आध्यात्मिक और पर्यटन पहचान को और मजबूत करेंगे।