विकसित भारत के लिए शिक्षा, तकनीक और समानता को प्राथमिकता: CM DHAMI
देहरादून:
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि “विकसित भारत” के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए विभिन्न क्षेत्रों में निर्णायक और ठोस कदम उठाए जाएंगे। उन्होंने शिक्षा और कौशल विकास को सर्वोच्च प्राथमिकता देने की बात कही ताकि युवा वर्ग न सिर्फ रोजगार योग्य बने, बल्कि आत्मनिर्भर भी हो सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विकसित राष्ट्र बनने के लिए एक मजबूत न्याय व्यवस्था, पारदर्शी प्रशासन और भ्रष्टाचार-मुक्त प्रणाली की आवश्यकता है। तकनीक और रक्षा जैसे क्षेत्रों में भारत को उस ऊंचाई तक पहुँचना होगा, जहां से वह न केवल आत्मनिर्भर बन सके, बल्कि वैश्विक नेतृत्व भी कर सके।
रविवार को मुख्यमंत्री ने वर्ष 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संकल्प को लेकर Media से विस्तृत चर्चा की। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री का सपना है कि जब भारत अपनी आज़ादी के 100 वर्ष पूरे करेगा, तब वह एक आत्मनिर्भर, सशक्त और समृद्ध राष्ट्र के रूप में विश्व मंच पर स्थापित हो।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भारत अब दुनिया की पाँचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है। उत्तराखंड में समान नागरिक संहिता (UCC) का लागू होना इसी दिशा में एक ऐतिहासिक और साहसिक कदम है।
उन्होंने कहा कि 21वीं सदी ज्ञान और तकनीक की सदी है, और भारत अब हर क्षेत्र में वैश्विक पहचान बना रहा है – फिर चाहे वह विज्ञान हो, अंतरिक्ष अनुसंधान, या रक्षा क्षेत्र। देश स्वदेशी तकनीकों से आधुनिक उपकरण और हथियार तैयार कर रहा है, और सतत विकास के क्षेत्र में भी दुनिया को दिशा देने की क्षमता रखता है।
मुख्यमंत्री ने दोहराया कि एक विकसित राष्ट्र वही होगा जहाँ भेदभाव की कोई जगह न हो, और समान नागरिक संहिता का लागू होना इसी सोच का प्रतिबिंब है।